वायनाड में प्रियंका गांधी ने सुनाया अपने बचपन का किस्सा..

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वायनाड में लोकसभा उपचुनाव के लिए नामांकन दाखिल कर चुकी प्रियंका गांधी ने मदर टेरेसा से जुड़ी एक दिल छू लेने वाली कहानी साझा की। अपने प्रचार अभियान के दौरान एक चुनावी सभा को संबोधित कर रही प्रियंका गांधी ने कहा कि मेरे पिताजी की हत्या के बाद मदर टेरेसा हमारे घर आई थीं।

उन्होंने मुझसे कहा कि मुझे बेसहारा लोगों के लिए काम करना चाहिए। वहां से मेरे मन में लोगों के लिए काम करने और उनकी मदद करने की ललक पैदा हुई। प्रियंका गांधी ने कहा कि मैंने उनसे प्रेरित होकर उनकी एक संस्था के सात काम करना शुरू किया। जब वह मेरे घर आई थीं तो मुझे बुखार आ रहा है, कुछ ही महीने पहले मेरे पिता का देहांत हुआ थो तो ऐसे समय में घर का माहौल भी ठीक नहीं था।

वह मुझसे मिलने के लिए मेरे कमरे में आईं, उन्होंने मेरे सिर पर हाथ फेरा और मुझे मां को देने के लिए एक माला भी दी। उनका असर इतना हुआ कि मैं कुछ ही महीने बाद उनके ट्रस्ट में सिस्टर्स के साथ काम करने लगी। मेरा काम वहां पर बच्चों को पढ़ाना और साफ-सफाई करना होता था।

वहां मैंने समझा की सेवा का मतलब क्या होता है कैसे एक समुदाय दूसरे समुदाय की मदद कर सकता है, कैसे हम एक दूसरे का सहयोग कर सकते हैं। वायनाड में मैंने देखा है कि कैसे एक समुदाय ने दूसरे समुदाय की मदद की थी, यकीन मानिए मुझे इसे देखकर बहुत ही गर्व का अनुभव हुआ।


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