प्राइवेट हॉस्पिटल की व्यवस्थाओं पर रहेगी नोडल अधिकारियों की पूरी नजर

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दुर्ग :कलेक्टर डॉ. सर्वेश्वर नरेंद्र भुरे ने प्राइवेट हॉस्पिटल के लिए लगाए नोडल अधिकारियों की मीटिंग ली। मीटिंग में उन्होंने कहा कि नोडल अधिकारी परिजनों की दिक्कतों को दूर करने की भरसक कोशिश करें, उनके फोन से जिस तरह से फीडबैक आते हैं उससे निजी अस्पतालों को अवगत कराएं ताकि व्यवस्था में निरंतर सुधार होता रहे। इसके साथ ही बिलिंग पर भी नोडल ऑफिसर की नजर रहे, शासन ने जो दरें निर्धारित की है निजी अस्पताल उसी तरह की दर से मरीजों से शुल्क वसूल करें यह सुनिश्चित करें। इसके लिए वह नियमित रूप से अपने अकाउंटेंट्स के साथ बिलिंग पर नजर रखें। नियमित रूप से इन हॉस्पिटल का निरीक्षण करें और व्यवस्था के संदर्भ में निर्देश दें। अस्पतालों के प्रबंधकों से सीधी बातचीत करें। मरीज के परिजन अपने मरीज के स्वास्थ्य संबंधी स्थिति को लेकर चिंतित रहते हैं अस्पतालों में परिजनों की कॉउंसिलिंग की नियमित व्यवस्था होती रहे। साथ ही यदि नोडल अधिकारी से परिजन मरीज की स्वास्थ्य की स्थिति के बारे में जानना चाहते हो तो उन्हें अवगत कराएं। उन्होंने कहा कि अस्पताल प्रबंधन मरीजों के परिजनों की नियमित काउंसलिंग करें, उनके द्वारा किए जा रहे इलाज की जानकारी दें, साथ ही किसी तरह का एडवांस इलाज किया जाना है तो इसकी जानकारी भी प्रदान करें। कलेक्टर ने कहा कि अभी दुर्ग जिला कोविड के गंभीर संकट के दौर से गुजर रहा है। इस दौर में यह आवश्यक है कि नोडल अधिकारी 24 घंटे अपने कार्य की मॉनिटरिंग करें। उन्हें रात में दिन में हर समय मरीजों के फोन आ सकते हैं उनके फीडबैक मिल सकते हैं, उनके फीडबैक के अनुसार हॉस्पिटल प्रबंधन से समन्वय करना आवश्यक है। यदि निजी अस्पताल प्रबंधकों द्वारा समन्वय में किसी तरह से दिक्कत आ रही है तो इस संबंध में भी अवगत कराया जाए ताकि आवश्यक कार्रवाई प्रशासन द्वारा की जा सके। उन्होंने कहा कि रिफर की स्थिति में अथवा अस्पताल में जगह न होने की स्थिति में नोडल अधिकारी अन्य नोडल अधिकारियों से संपर्क में रहें ताकि यदि किसी अन्य अस्पताल में बेड की उपलब्धता हो तो परिजन को इससे अवगत कराया जा सके।


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