पूरा पाकिस्तान तालिबान की सेवा में लगा था: अमरुल्ला सालेह

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काबुल पर तालिबान के कब्जे से पहले ही अफगानिस्तान के राष्ट्रपति अशरफ गनी भले ही अपनी जान बचाकर भाग गए हों, लेकिन वहां के कार्यकारी राष्ट्रपति अमरुल्ला सालेह आतंकवादियों के सामने अभी भी डटे हुए हैं। वो पंजशीर की खौफनाक घाटियों में रहकर ही तालिबान से लोहा लेने की कोशिश कर रहे हैं। अब जबकि काबुल तालिबान के नियंत्रण में है, फिर भी सालेह को अपने अफगानी सैनिकों पर गर्व है। वह अभी भी कह रहे हैं कि तालिबान को रोकने के लिए सरकार जो कुछ कर सकती है, वह करती रहगी।

सालेह ने कहा है कि पूरा पाकिस्तान तालिबान की सेवा में बिछ गया था। अमेरिका सहयोग के लिए पाकिस्तान को पैसे देकर उसे खरीदने की कोशिश करता रहा, लेकिन उसे जितने ही ज्यादा फंड दिए गए, वह उतना ही ज्यादा तालिबान की सेवा में उसे लुटाता रहा। एक परमाणु शक्ति संपन्न देश अफगानिस्तान में आतंवाद को बढ़ावा दे रहा है, इसपर पश्चिम के सहयोगी देशों ने कभी ध्यान ही नहीं दिया।


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