प्रधानमंत्री ने जांजगीर-चांपा जिले के कलेक्टर से की चर्चा

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रायपुर : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा देश के 11 राज्यों के 60 जिलों में कोविड-19 प्रबंधन तथा कोरोना संक्रमण की वर्तमान स्थिति की समीक्षा के लिए आयोजित वर्चुअल बैठक में छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल भी शामिल हुए। इस बैठक में छत्तीसगढ़ के बलौदाबाजार-भाटापारा, रायगढ़, जांजगीर-चांपा, कोरबा और बिलासपुर जिलों के कलेक्टर जुड़े। प्रधानमंत्री श्री मोदी ने जांजगीर-चांपा के कलेक्टर यशवंत कुमार से चर्चा कर जिले में कोविड प्रबंधन की स्थिति की जानकारी ली। बैठक में मुख्य सचिव अमिताभ जैन, मुख्यमंत्री के अपर मुख्य सचिव सुब्रत साहू, स्वास्थ्य विभाग के प्रमुख सचिव डॉ. आलोक शुक्ला और मुख्यमंत्री के सचिव सिद्धार्थ कोमल परदेशी भी उपस्थित थे। जांजगीर-चांपा जिले के कलेक्टर ने चर्चा के दौरान बताया कि मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के निर्देशों के अनुसार जिले में अधिक संक्रमण वाले क्षेत्रों को चिन्हित कर वहां जनजागरूकता अभियान चलाया गया तथा सघन टीकाकरण किया गया। उन्होंने बताया कि जांजगीर-चांपा जिले के 31 गांवों में 90 प्रतिशत लोगों का वैक्सीनेशन हो चुका है। उन्होंने बताया कि जिले में शतप्रतिशत हेल्थ वर्कर्स और फ्रंट लाइन वर्कर्स को वैक्सीन की पहली डोज लगाई जा चुकी है। इन दोनों ही वर्गाें में 85 प्रतिशत लोगों को दूसरी डोज भी लगाई जा चुकी है। जल्द ही इन वर्गाें के सभी लोगों को वैक्सीनेशन कर लिया जाएगा। जिले में 45 वर्ष से अधिक आयु के 70 प्रतिशत लोगों का वैक्सीनेशन किया गया है। 18 से 44 वर्ष आयु के लोगों का वैक्सीनेशन प्रारंभ हो गया है। जैसे-जैसे वैक्सीन की आपूर्ति बढ़ेगी, तेजी से वैक्सीनेशन किया जाएगा। जिले में पॉजिटिविटी रेट 30 प्रतिशत थी, जो अब घटकर 14 प्रतिशत हो गई है। बहुत जल्द यह 10 प्रतिशत के नीचे आ जाएगी।

कलेक्टर ने जानकारी दी कि जिले में स्वास्थ्य अधोसंरचना की स्थिति अच्छी है। जिले के अस्पतालों में कुल 1691 सामान्य बेड हैं, जिनमें से 883 रिक्त हैं। इसी तरह जिले में 621 ऑक्सीजन बेड हैं, जिनमें से 303 भरे हैं। आईसीयू के 20 बिस्तरों में 9 बिस्तर भरे हैं। जिले के कोविड सेंटरों में 150 बेड उपलब्ध हैं। कोविड सेंटरों में योगा और टीव्ही की व्यवस्था भी की गई है। उन्होंने यह भी बताया कि जिले में विभिन्न औद्योगिक इकाईयों के सहयोग से ऑक्सीजन की उपलब्धता सरप्लस है। जिले में ऑक्सीजन के 350 सिलेण्डरों की आवश्यकता पड़ती है, जबकि जिले में 550 सिलेण्डरों की आपूर्ति हो रही है। जिले में एनजीओ, चेम्बर ऑफ कॉमर्स एवं मंदिर ट्रस्ट समिति की सहायता से 100 जम्बो सिलेण्डर और 90 ऑक्सीजन कंसनट्रेटर उपलब्ध कराए गए हैं। उन्होंने यह भी बताया कि कई बार आरटीपीसीआर टेस्ट रिपोर्ट विलंब से प्राप्त होती है, इस कारण जिले के ग्रामीण क्षेत्रों में कोरोना संक्रमण के लक्षण वाले मरीजों को कोरोना प्रोटोकॉल के आधार पर तैयार किए गए दवाईयों के किट वितरित किए जा रहे हैं। जिससे मरीजों का जल्द इलाज प्रारंभ हो जाता है और उनकी स्थिति ज्यादा नहीं बिगड़ती। कलेक्टर ने यह भी जानकारी दी कि कई गांवों में लोगों ने स्वयं ही बाहर से आने वाले लोगों की आवाजाही पर प्रतिबंध लगाया है, जिससे संक्रमण न फैले। जिले में आयुष काढ़े के 10 हजार पैकेट हाट बाजारों में वितरित किए गए हैं। अस्पतालों में पोस्ट कोविड ओपीडी भी प्रारंभ की गई है।


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