वैक्सीन नीति पर संसदीय समिति में हंगामा कई भाजपा सांसदों ने किया बर्हिगमन

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वैक्सीन निर्माण के मुद्दे पर एक संसदीय समिति में बुधवार को जमकर हंगामा हुआ। वैक्सीन नीति पर चर्चा की विपक्ष की मांग पर आपत्ति जताते हुए कई भाजपा सांसदों ने बैठक से बर्हिगमन किया। 

सूत्रों के अनुसार, सरकार के वैज्ञानिक सलाहकार के विजय राघवन, आईसीएमआर के डीजी वीके भार्गव और बॉयोटेक्नोलॉजी विभाग की सचिव रेणु स्वरूप विज्ञान और प्रौद्योगिकी पर संसदीय स्थायी समिति के सामने पेश हुए। 

बैठक की अध्यक्षता कांग्रेस सांसद जयराम रमेश ने की। बैठक का एजेंडा कोरोना वैक्सीन का विकास और वायरस तथा उसके वैरिएंट की जेनेटिक सिक्वेंसिंग था। बैठक के दौरान कई विपक्षी सांसदों ने वैक्सीन की खरीद, कीमत और दो टीकों के बीच बढ़ाए गए अंतराल को लेकर सवाल उठाने की इच्छा जताई तो भाजपा सांसदों ने इसका सख्त विरोध किया। 

उन्होंने कहा कि विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्रालय केवल शोध और विकास का काम करता है। वैक्सीनकी खरीद,, कीमत या टीकाकरण उसके अंतर्गत नहीं आता। उन्होंने कहा कि देश में टीकाकरण चल रहा है और इस समय ऐसे मुद्दे उठाने से टीकाकरण प्रक्रिया को नुकसान हो सकता है। कुछ भाजपा सांसदों ने बैठक को टालने की मांग और बाहर निकल गए। हालांकि बाद में सभी वापस आ गए।

जब एक भाजपा सांसद ने बैठक को टालने और इस पर मतदान की मांग की तो समिति के अध्यक्ष रमेश ने इससे इनकार करते हुए कहा कि स्थायी समितियों की बैठक आम सहमति से होती रही हैं। साथ ही उन्होंने आश्वासन दिया कि समिति पहले से तय एजेंडे के तहत ही कार्यवाही करेगी। 

समिति ने वैक्सीन के रिसर्च और विकास को लेकर मंत्रालय तथा वैज्ञानिक समुदाय की भूमिका की प्रशंसा भी की। बैठक के बाद रमेश ने ट्वीट में उन सभी खबरों को गलत बताया जिसमें दावा किया गया था कि बैठक में पीएम-केयर्स का जिक्र हुआ। उन्होंने कहा कि 150 मिनट तक चली बैठक में एक बार भी इसका उल्लेख नहीं हुआ।


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