हनुमानगढ़ में दलित युवक की पीट-पीट कर हत्या के मामले में पांच गिरफ्तार

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हनुमानगढ़ ज़िले में पीलीबंगा के प्रेमपुरा गांव में एक दलित युवक की कथित तौर पर पीट-पीट कर हत्या और शव घर के बाहर फेंक दिए जाने के मामले में रविवार को पुलिस ने मुख्य अभियुक्त समेत पांच अभियुक्तों को गिरफ्तार किया है.

आरोप है कि प्रेमपुरा गांव के जगदीश मेघवाल को गुरुवार को कुछ युवक घर से बुला कर साथ ले गए थे. सुनसान जगह युवक के साथ बेरहमी से मारपीट की गई, जिससे युवक की मौत हो गई. मारपीट का वीडियो भी बनाया गया, जिसमें आधा दर्जन लोग नज़र आ रहे हैं. वे सभी घटना के बाद से फरार थे.

मृतक जगदीश मेघवाल के परिजनों ने अभियुक्तों की गिरफ्तारी की मांग करते हुए शव लेने और पोस्टमॉर्टम कराने से इंकार कर दिया था. ज़िला अस्पताल के सामने दो दिन तक मृतक के परिजनों और भीम आर्मी ने हत्यारों की गिरफ्तारी की मांगों को लेकर धरना दिया. हालांकि, प्रशासन से समझौता होने के बाद शव का अंतिम संस्कार कर दिया गया है.

मृतक जगदीश मेघवाल के पिता बनवारी लाल मेघवाल ने पुलिस रिपोर्ट में बताया कि, गुरुवार शाम करीब 4.30 बजे प्रेमपुरा निवासी विनोद, मुकेश, लालचंद उर्फ रामेश्वर, सिकंदर एवं दिलीप ओढ़ राजपूत दो बाइक पर घर आए, जिन्होंने उसके पुत्र जगदीश को बाइक के बीच में बिठा रखा था.

पुलिस को दी गई प्रथम सूचना रिपोर्ट में बताया गया है कि बाइक सवार युवक घर के आगे गली में जगदीश को डाल कर भाग गए. उसने भागकर जगदीश को संभाला तो देखा कि उसकी सांसे नहीं चल रही थी.

स्थानीय पत्रकार पुरुषोत्तम दत्त उपाध्याय इस मामले पर बीबीसी को बताते हैं कि, "जगदीश मेघवाल तलाक़शुदा थे और एक तलाक़शुदा महिला को प्रेम करते थे. इसकी जानकारी होने पर महिला के पूर्व पति ने ही अपने कुछ साथियों के साथ मिलकर इस घटना को अंजाम दिया है."

उपाध्याय बताते हैं, "पुलिस में दर्ज एफआईआर में परिजनों ने तलाक़शुदा महिला समेत ग्यारह लोगों को आरोपी बनाया है."

इस मामले को लेकर राज्य की कानून व्यवस्था पर सवाल उठाए जा रहे हैं. भाजपा ने राज्य की कांग्रेस सरकार पर सवाल खड़े किए हैं और यूपी की पूर्व मुख्यमंत्री मायावती ने भी इस मामले पर कांग्रेस की खामोशी पर ट्वीट कर सवाल किए हैं.


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